- राज्य स्थापना के रजत जयंती समारोह में राज्यपाल ने रैतिक परेड की सलामी ली
- समारोह में 08 महानुभावों को राज्य गौरव सम्मान से किया गया सम्मानित
- तकनीक, नवाचार और स्टार्टअप के क्षेत्र में अग्रणी बनें तथा देश-प्रदेश के विकास में योगदान दें युवा – राज्यपाल
- हमें वही वस्तुएँ खरीदनी चाहिए, जिनमें हमारे लोगों का परिश्रम निहित हो और जो मेड इन इंडिया हों – राज्यपाल
01- प्रदेश की सम्पूर्ण कृषि भूमि का आगामी 05 वर्षों में फेजवाईज सर्वेक्षण कर बन्दोबस्त करवाया जायेगा।
02- प्रदेश में साइबर अपराधों की रोकथाम के लिए स्टेट साइबर क्राइम कॉर्डिनेशन सेंटर की स्थापना की जाएगी।
03- ड्रग्स फ्री देवभूमि के लिए प्रदेश में एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स का विस्तार किया जाएगा।
04- राजकीय विद्यालयों में पीएम पोषण योजना के अंतर्गत मानदेय पर रखी गई भोजन माताओं के लिए कल्याण कोष की स्थापना की जाएगी।
05- राज्य में जंगली जानवरों एवं आवास पशुओं से कृषि एवं औद्यानिकी फसलों की सुरक्षा हेतु फार्म फेंसिंग पॉलिसी लाई जाएगी।
06- पारंपरिक धारे, नौले आदि प्राकृतिक जल स्रोतों के संरक्षण, पुनर्जीवन एवं सौंदर्यीकरण के लिए विशेष संवर्धन योजना प्रारंभ की जाएगी।
07- उच्च शिक्षा शिक्षण संस्थाओं के छात्र-छात्राओं में कौशल विकास के लिए ऑनलाइन स्किल कोर्सेज उपलब्ध कराए जाएंगे तथा सिविल सर्विसेज, बैंकिंग, मैनेजमेंट, नेट आदि परीक्षाओं की तैयारी के लिए ऑनलाइन कोचिंग सुविधा भी उपलब्ध कराई जाएगी।
08- मानसखण्ड माला मिशन की तर्ज पर ही केदारखण्ड माला मिशन का विकास किया जाएगा।
09- आदर्श चम्पावत की भांति आदर्श रुद्रप्रयाग जनपद का विकास किया जाएगा।
10- कुमाऊँ के शारदा कॉरीडोर एवं आदि कैलाश तथा गढ़वाल के अंजनीसैण एवं बेलाकेदार क्षेत्र को स्प्रिचुअल इकोनॉमिक जोन के रूप में विकसित किया जाएगा।
11- प्रत्येक जिला अस्पताल में टाइप-1 डायबिटीज के लिए विशेष क्लीनिक खोले जाएंगे और 15 वर्ष तक के बच्चों की डायबिटीज स्क्रीनिंग मुफ्त की जाएगी।
देहरादून। उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर आयोजित समारोह में राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (सेवानिवृत्त) ने कहा कि पिछले 25 वर्षों में उत्तराखंड ने विकास की अनेक ऊंचाइयां छुई हैं। उन्होंने कहा कि यह यात्रा जनसहभागिता, परिश्रम और राज्यवासियों की एकजुटता की मिसाल है। राज्य ने कठिन भौगोलिक परिस्थितियों और सीमित संसाधनों के बावजूद शिक्षा, स्वास्थ्य, पर्यटन, उद्योग और कृषि जैसे क्षेत्रों में उल्लेखनीय प्रगति की है। राज्यपाल ने कहा कि उत्तराखंड की सबसे बड़ी ताकत उसकी संस्कृति, परंपरा और लोगों की दृढ़ इच्छाशक्ति है, जिन्होंने हर चुनौती को अवसर में बदला है।

राज्यपाल ने कहा कि राज्य की कानून-व्यवस्था और प्रशासनिक तंत्र ने सीमित संसाधनों के बावजूद जनसेवा में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया है। उन्होंने कहा कि आने वाले वर्षों में उत्तराखंड को देश के आदर्श राज्य के रूप में विकसित करने की दिशा में सबको मिलकर कार्य करना होगा।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस अवसर पर कहा कि राज्य निर्माण की इन 25 वर्षों की यात्रा में उत्तराखंड ने अनेक चुनौतियों का सामना करते हुए आज देश के अग्रणी एवं सशक्त राज्यों में अपनी विशिष्ट पहचान बनाई है। उन्होंने कहा कि प्राकृतिक आपदाओं और कठिन परिस्थितियों के बावजूद राज्य की कानून-व्यवस्था को बनाए रखना एक बड़ी चुनौती रही, लेकिन उत्तराखंड पुलिस ने जनसेवा का अद्वितीय उदाहरण प्रस्तुत किया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि महिला अपराधों के निराकरण में उत्तराखंड पुलिस ने सराहनीय कार्य किया है। गृह मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार महिला अपराधों एवं पोक्सो अधिनियम के मामलों के निस्तारण में उत्तराखंड देश में पांचवें स्थान पर रहा है। उन्होंने कहा कि साइबर अपराधों पर नियंत्रण के लिए पुलिस की तकनीकी क्षमता को और अधिक सशक्त बनाया जा रहा है तथा ‘ड्रग फ्री उत्तराखंड’ के संकल्प को एक जन आंदोलन का रूप दिया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में राज्य सरकार ने पिछले साढ़े चार वर्षों में अनेक उल्लेखनीय उपलब्धियां अर्जित की हैं। किसानों की आय में वृद्धि के मामले में उत्तराखंड देश में प्रथम स्थान पर रहा है। राज्य की कंपाउंड एनुअल ग्रोथ रेट 12.69 प्रतिशत रही है, जो राष्ट्रीय औसत से चार गुना अधिक है।

उन्होंने कहा कि उत्तराखंड युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराने में देश का अग्रणी राज्य बनकर उभरा है। पर्यटन क्षेत्र में भी राज्य की पहचान नई ऊंचाइयों तक पहुंची है। उत्तराखंड के चार गांव — जखोल, हर्षिल, गूंजी और सूपी — को देश के सर्वश्रेष्ठ पर्यटन ग्राम का पुरस्कार मिला है। इसके साथ ही राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों में उत्तराखंड को ‘मोस्ट फिल्म फ्रेंडली स्टेट’ का सम्मान भी प्राप्त हुआ है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार समग्र विकास के साथ-साथ सांस्कृतिक मूल्यों और जनसांख्यिकीय स्वरूप को सुरक्षित रखने के लिए पूर्ण रूप से संकल्पबद्ध है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड की आत्मा उसकी संस्कृति और लोकजीवन में बसती है, और सरकार विकास के हर कदम पर इस पहचान को संरक्षित रखेगी।

इस अवसर पर राज्यसभा सांसद नरेश बंसल, विधायक प्रेमचंद अग्रवाल, खजान दास, दुर्गेश्वर लाल, मेयर देहरादून सौरभ थपलियाल, मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन, डीजीपी दीपम सेठ सहित शासन, पुलिस और जिला प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।
सराहनीय सेवा पदक से अलंकृत किया…

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