चंपावत। उत्तराखंड के चंपावत में बीते बुधवार को छात्रा का अपहरण करके उसे नशीला पदार्थ सुंघाने और छेड़खानी के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। मामले की जब पुलिस ने पड़ताल की तो पूरा मामला झूठा निकला। बालिका (पीड़िता) ने छात्र से पूर्व से जान-पहचान होने और अपनी मर्जी से जाने की बात कही है।
पुलिस अधीक्षक अजय गणपति ने बताया कि थाना लोहाघाट क्षेत्र अंतर्गत एक व्यक्ति द्वारा थाना लोहाघाट में आकर लिखित सूचना दी गई थी, जिसमें बताया गया था कि उसकी 13 वर्षीय नाबालिग बालिका को तीन-चार युवकों द्वारा स्कूल जाते समय नशीला पदार्थ सूंघाकर अपहरण और सुनसान जगह ले जाकर छेड़खानी की गई। घटना की संवेदनशीलता को देखते हुए तत्काल थाना लोहाघाट में चार अज्ञात लोगों के खिलाफ 74/123 BNS और 7/8 पॉक्सो अधिनियम के तहत मामला दर्ज कर लिया गया था।
विवेचना महिला उप निरीक्षक अंजू यादव के सुपुर्द की गई। घटना के खुलासा के लिए पुलिस की तीन टीमों का गठन किया गया, जिसमें पुलिस द्वारा 40 सीसीटीवी फुटेज खंगाले गए। मोबाइल सर्विलांस के माध्यम से लोगों को ट्रेस किया गया और तृतीय टीम द्वारा गवाहों के बयान अंकित कराए गए। मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए पुलिस टीमों के साथ-साथ एसओजी टीम को भी नियुक्त किया गया। पुलिस टीमों द्वारा लगातार सीसीटीवी, मोबाइल सर्विलांस और गवाहों के बयान अंकित करने के बाद उक्त घटना में संलिप्त 15 वर्षीय छात्र को हिरासत में लेकर न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया।
पूछताछ में छात्र ने अपने बयानों में पीड़िता से पूर्व से जान-पहचान होने और दोनों द्वारा एक साथ स्वयं की मर्जी से जाने संबंधी बयान दिए। पीड़िता द्वारा भी अपने बयानों में छात्र से पूर्व से जान-पहचान होने और उसके घर जाने संबंधित बयान दर्ज कराए गए। इसके बाद जांच में सामने आया कि बालिका को अपहरण और नशीला पदार्थ खिलाना और चार युवकों द्वारा उसे ले जाना झूठा है।