टिहरी। यहां रत्नोगाड़ में बंद पड़े ऋषिकेश-गंगोत्री हाईवे पर 20 घंटे बाद बड़े वाहनों का संचालन शुरू हो गया है, लेकिन छोटे वाहनों की रत्नोगाड़ से आवाजाही नहीं हो पा रही है। वहां पर पहाड़ी से मिट्टी गिरने से हाईवे पर दलदल का आलम है जिससे छोटे वाहन रपट रहे हैं।
इस खतरे को देखते हुए प्रशासन ने चंबा, ऋषिकेश, हरिद्वार से कंडीसौड़, चिन्यालीसौड़ और उत्तरकाशी जाने वाले छोटे वाहनों की आवाजाही चंबा-कोटी कालोनी-डोबरा मार्ग से शुरू कर दी है। गौरतलब है कि ऋषिकेश-गंगोत्री हाईवे पर रत्नोगाड़ के समीप रविवार अपराह्न 3.30 बजे भूस्खलन होने भारी मात्रा में मलबा और बोल्डर गिरे थे। रात के समय भी वहां कई बार भूस्खलन हुआ। सड़क को खोलने में दोनों तरफ जेसीबी लगी हुई थी, लेकिन बार-बार हो रहे भूस्खलन से वहां मलबे का ढेर लग गया।
बीती रात को हुई बारिश के दौरान मिट्टी में फिसलन हो रही है। काफी मशक्कत के बाद आज सोमवार पूर्वाह्न करीब 11 बजे बीआरओ को मलबा साफ कर हाईवे पर वाहनों का संचालन शुरू करने में कामयाबी मिल पाई, लेकिन छोटे वाहन अभी भी दलदल में रपट रहे हैं। ऐसे में बड़े वाहनों को रत्नोगाड़ से आरपार किया जा रहा है लेकिन छोटे वाहनों की आवाजाही वैकल्पिक मार्ग चंबा-कोटीकालोनी-डोबरा मार्ग से कराई जा रही है। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी बृजेश भट्ट ने बताया कि छोटे वाहनों की आवाजाही वैकल्पिक मार्ग चंबा-कोटी कालोनी-डोबरा मार्ग से कराई जा रही है।
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