देहरादून। आज शुक्रवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मसूरी में शहीद स्मारक पर पुष्पचक्र अर्पित कर शहीद राज्य आंदोलनकारियों को श्रद्धांजलि दी और शहीद हुए राज्य आंदोलनकारियों के परिजनों को सम्मानित भी किया।

उन्होंने कहा कि राज्य आंदोलनकारियों के बलिदान के कारण ही हमें उत्तराखंड राज्य मिला। आंदोलनकारियों ने जिस उद्देश्य से अलग राज्य की मांग की थी, उसके अनुरूप ही राज्य को आगे बढ़ाने के लिए सरकार प्रयासरत है। उत्तराखंड को देश के अग्रणी राज्य बनाने के लिए 10 साल का रोडमैप तैयार किया जा रहा है। 2025 में उत्तराखंड राज्य स्थापना की रजत जयंती मनायेगा, तब तक सभी विभागों को लक्ष्य दिया गया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मसूरी में गढ़वाल सभा के भवन निर्माण के लिए 1.50 करोड़ रूपये की स्वीकृति दी जा चुकी है, इसके लिए और धनराशि की आवश्यकता होगी, तो वह दी जायेगी। फिल्म के माध्यम से राज्य आन्दोलनकारियों का चित्रण हो इसकी व्यवस्था की जायेगी जिससे राज्य के युवाओं को राज्य आन्दोलनकारियों की वीरगाथाओं को दिखाया जा सके। राज्य की महिलाओं के लिए 30 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण के लिए पुरजोर पैरवी की जायेगी। इसके लिए सरकार उच्चतम न्यायालय जाने की तैयारी कर रही है। राज्य आन्दोलनकारियों के क्षैतिज आरक्षण का परीक्षण कर उचित समाधान निकाला जायेगा। सिपनकोट के लोगों की पुनर्वास की उचित व्यवस्था की जायेगी।

कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि सरकार राज्य आंदोलनकारियों के प्रति संवेदनशील है। इस अवसर पर पूर्व विधायक जोत सिंह गुनसोला, काशी सिंह ऐरी, मसूरी नगर पालिका परिषद के अध्यक्ष अनुज गुप्ता, पूर्व अध्यक्ष मन्नू मल, मंडल अध्यक्ष मोहन पेटवाल, राज्य आन्दोलनकारी रविन्द्र जुगरान, बलजीत सिंह सोनी मौजूद थे।
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