बागेश्वर। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कांडा में प्रसव के दौरान नवजात शिशु को थप्पड़ मारने के मामले को राज्य अनुसूचित जाति आयोग ने गंभीरता से लिया है। इस मामले में आयोग ने सीएमओ को पत्र लिखकर स्पष्टिकरण मांगा है। आपको बता दें कि स्वास्थ्य विभाग पर आरोप है कि चिकित्सालय के इमरजेंसी में कोई चिकित्सक नहीं था। प्रसव के बाद नवजात को थप्पड़ मारा गया है जिससे नवजात की मौत हो गई। कांडा के कांडे कन्याल निवासी ललित प्रसाद का आरोप है कि 21 फरवरी को उसकी पत्नी को प्रसव पीड़ा हुई तो उसने 108 पर फोन किया परंतु यह सेवा नहीं मिल पाई जिस पर वह पत्नी को लेकर कांडा चिकित्सालय ले गया, जहां कोई चिकित्सक व अन्य कर्मचारी ड्यूटी पर नहीं थे जिस पर उन्होंने चिकित्सालय लिस्ट पर उपलब्ध नंबर पर फोन किया तो उसके आधे घंटे बाद वहां स्वास्थ्य कर्मी पहुंचे तथा उन्होंने बेरहमी से प्रसव कराया। साथ ही नवजात शिशु को बेरहमी से निकाला। इस पर ललित प्रसाद ने 24 फरवरी को इसकी शिकायत अनुसूचित जाति आयोग और कुमाऊं कमिश्रर दीपक रावत समेत संबंधित अधिकारियों से की। इस पर अनुसूचित जाति आयोग के सचिव विपिन चंद्र रतूड़ी ने इसे गंभीरता से लेते हुए सीएमओ को नोटिस भेजा और कहा है कि वे सभी तथ्य के साथ आयोग के समक्ष उपस्थित हो।
