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बहू के बाद क्या हरक सिंह रावत भी होंगे भाजपा में शामिल, प्रदेश अध्यक्ष भट्ट ने कही ये बात…

देहरादून। पूर्व मिस इंडिया फाइनलिस्ट और पूर्व वन मंत्री हरक सिंह रावत की बहू अनुकृति गुसाईं , जो वर्तमान में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की जांच के दायरे में हैं, रविवार को भाजपा में शामिल हो गईं थी। उन्होंने निजी कारणों का हवाला देते हुए पिछले महीने कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था। अनुकृति के 16 मार्च को कांग्रेस छोड़ने के बाद से ही उनके बीजेपी में जाने की अटकलें तेज थीं।

पूर्व कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत की पुत्रवधू अनुकृति गुसाईं के भाजपा का दामन थामने के बाद कई सवाल उठ रहे हैं। कुछ लोगों का कहना है कि हरक सिंह रावत के ऊपर चल रही ईडी की पूछताछ और अनुकृति गुसाईं से भी मामले में पूछताछ होने की वजह से अनुकृति ने डर के मारे भाजपा ज्वाइन की है। जबकि कुछ लोगों का मानना है कि हरक ने पहले बहू की एंट्री भाजपा में करवाई है। उसके बाद हरक भी भाजपा का दामन थाम लेंगे।

बता दें कि पूर्व वन मंत्री हरक सिंह रावत पाखरो टाइगर सफारी प्रकरण में ईडी की जांच का सामना कर रहे हैं। कुछ समय पहले ईडी ने हरक सिंह रावत व उनके परिवार के सदस्यों से पूछताछ की थी। वहीं भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भट्ट ने कहा कि ईडी एक जांच एजेंसी है। उसकी जांच में यदि कोई दोषी पाया जाता है तो वह पार्टी में नहीं रह सकता। उन्होंने कहा कि जहां तक अनुकृति गुसाईं की बात है तो भाजपा में आने से पहले वह कांग्रेस छोड़ चुकी थीं। वह विधानसभा चुनाव में लैंसडौन सीट से चुनाव लड़ चुकी हैं।

हाल में अनुकृति ने भाजपा के पक्ष में अपील की थी। अनुकृति को यह पहले ही स्पष्ट किया जा चुका है कि यदि ईडी की जांच में वह दोषी पाई जाती हैं तो उन्हें मजबूरी में पार्टी से हटाना पड़ेगा। भट्ट ने कहा कि अंततोगत्वा निर्णय न्यायालय के अधीन होता है। जब तक निर्णय इस रूप में नहीं आता है, तब तक शक के दायरे में किसी को दोषी मान लें और पार्टी की सदस्यता न दें, यह उचित नहीं था।

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भट्ट ने कहा कि हरक सिंह रावत का निष्कासन पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व ने किया। भाजपा में आने से संबंधित कोई प्रस्ताव भी हरक सिंह की ओर से नहीं मिला है। यदि आता भी है तो इसे केंद्रीय नेतृत्व को ही भेजा जाएगा। इसका निर्णय केंद्रीय नेतृत्व करेगा। उन्होंने कहा कि यह राज्य का विषय नहीं है और न वह इस बारे में कोई निर्णय ले सकते हैं।

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