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उत्तराखंड : करीब 1000 जगह धधक रहे जंगल, चार लोगों और सात जानवरों की मौत

देहरादून। प्रदेश में लगातार बढ़ती जा रही दावानल की घटनाओं में सात जानवरों और चार लोगों की मौत हुई है। इसकी पुष्टि वन मंत्री हरक सिंह रावत ने की है। उन्होंने कहा कि इस समय राज्य में 964 जगहों पर आग लगी हुई है। जिसमें कुल सात जानवर और चार लोगों की मौत हुई है। वहीं दो लोग झुलस गए हैं। मौसम ने इस स्थिति को और चुनौतीपूर्ण बना दिया है। मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत और मैं इस पर नजर बनाए हुए हैं। हम हेलीकॉप्टर से आग बुझाने का प्रयास करेंगे।
उधर अल्मोड़ा जिले में वनाग्नि की घटनाएं लगातार बढ़ती जा रही हैं। शुक्रवार देर शाम क्षेत्र में जंगल में आग की चार और घटनाएं सामने आई हैं। कई इलाकों में आग घरों की ओर बढ़ने लगी। अग्निशमन दल ने आग पर तत्परता से काबू पा लिया। इधर शनिवार को विकासभवन के समीप भी जंगल धधक गए। दो दिन में ही अल्मोड़ा क्षेत्र के अंतर्गत जंगलों की नौ घटनाएं सामने आ चुकी हैं।

देर शाम सबसे पहले तुलड़ी के जंगल आग से घिर गए। जंगल में तेजी से आग फैलने लगी, जंगलों की आग रिहायशी इलाकों तक बढ़ती चली गई। दमकल कर्मियों ने बमुश्किल आग पर काबू पाया। उधर तल्लातोली में भी जंगल में आग लग गई। कुछ ही देर में आग ने विकराल रूप ले लिया। मौके पर पहुंच दमकल कर्मियों ने आग पर काबू पाया। यहां से दमकल कर्मी आग बुझाकर निकले तो कलटानी के जंगल में आग की सूचना मिली। इधर जलना के समीप जंगल भी आग की चपेट में आ गए। एक के बाद एक लगातार चार क्षेत्रों में जंगल धूधूकर जलते रहे। वनाग्नि की घटनाओं में वन संपदा को भारी नुकसान पहुंचा। इधर शनिवार को विकासभवन के निकट जंगलों में भी आग लगी रही। दो दिनों में अल्मोड़ा क्षेत्र के अंतर्गत की जंगलों की आग के नौ मामले सामने आए हैं। 
एफएसएसओ उमेश चंद्र परगाई ने बताया कि कार्मिकों की कमी बनी हुई है। ऐसे में जितने कार्मिक हैं, उन्हीं से काम चलाना पड़ रहा है। सभी स्थानों पर कार्मिकों को भेज आग पर काबू पाया जा रहा है। टीम में एलएफएम कुंवर सिंह राणा, एलएफएम हरीश राम टम्टा, एलएफएम हरनाम सिंह, चालक मुकेश सिंह, पंकज सिंह, फायर मैन खुशाल भारती, गंगाराम आदि थे।
तीनों ओर आग से घिरा गोरसाली गांव, घास और लकड़ियां जलीं : टिहरी जिले के कीर्तिनगर ब्लॉक के अंतर्गत गोरसाली गांव शुक्रवार रात को तीन ओर आग से घिर गया। आग के कारण खेतों में इकट्ठा की गई घास और लकड़ियां जल गईं। आग बढ़ती देख ग्रामीणों ने तत्परता दिखाई तो कुछ हद तक आग पर काबू पाया जा सका। इसके बाद वन विभाग ने ग्रामीणों और फायर ब्रिगेड की मदद से रात लगभग दो बजे आग बुझा ली। वहीं श्रीनगर क्षेत्र में शनिवार को भी जंगलों में आग लगी रही। श्रीनगर व कीर्तिनगर क्षेत्र में 29 मार्च से विभिन्न जगहों पर जंगलों में आग लगी है। 
जंगल की आग से जला तुणख्या स्कूल भवन : पौड़ी में जंगल में लगी आग से शनिवार को एक प्राथमिक विद्यालय भवन जल गया। गनीमत रही कि कोरोना संक्रमण काल के कारण विद्यालय बंद था। जिससे बड़ा हादसा होने से जल गया, लेकिन स्कूल का फर्नीचर और दस्तावेज जल गए। पौड़ी जिले के जंगल इन दिनों भीषण आग से धधक रहे हैं। जंगलों की आग में वन संपदा के साथ ही जंगली जानवर भी संकट में हैं। शुक्रवार रात को जंगल की आग कोट ब्लाक के राजकीय प्राथमिक विद्यालय तुणख्या तक पहुंच गई जिससे विद्यालय का भवन जल गया। बताया जा रहा है कि विद्यालय भवन पुराना था। वहीं विद्यालय के समीप एक गोशाला भी जलकर नष्ट हो गई। गोशाला में तीन मवेशी थे, जिन्हें ग्रामीणों ने समय रहते बाहर निकाल दिया था। 
स्यूंड के ग्रामीणों ने बुझाई जंगल की आग : रुद्रप्रयाग में तल्लानागपुर के ग्राम पंचायत स्यूंड के ग्रामीणों ने गांव के समीप जंगल में लगी आग बुझाई।शुक्रवार रात को स्यूंड गांव से लगे चीड़ के जंगल में आग लग गई थी। आग की लपटें तेजी से गोशालओं की तरफ बढ़ने लगी। इस दौरान प्रधान अरविंद डिमरी के नेतृत्व में युवाओं की टीम जंगल में पहुंची और आग बुझाने में जुट गई। प्रधान ने बताया कि संसाधनों के अभाव के बाद भी युवाओं ने आग पर काबू पाया, जो सराहनीय कार्य है। आग बुझाने वालों में सुशील सेमवाल, अनूप डिमरी, हिमांशु सेमवाल आदि शामिल थे।
उत्तरकाशी में 45 हेक्टेयर जंगल हो चुके हैं राख : उत्तरकाशी जिले के विभिन्न हिस्सों में जंगल धधक रहे हैं। जिले के पांच वन प्रभागों में अभी तक चार दर्जन आग की घटनाओं में करीब 45 हेक्टेयर जंगल जल चुके हैं। अपर यमुना वन प्रभाग में पौंटी, मोल्डा, उपराड़ी, गंगनानी क्षेत्र के जंगल जल रहे हैं। डीएफओ केपी वर्मा ने बताया कि इस सीजन में प्रभाग में अभी तक आग लगने की सात घटनाओं में करीब सात हेक्टेयर जंगल को नुकसान पहुंचा है।
इधर शुक्रवार रात को गंगोरी के पास नाल्ड में जंगल की आग भयावह होने से क्षेत्र में अफरा तफरी मच गई थी। हालांकि मौके पर पहुंचे अग्निशमन व वन कर्मियों ने आग पर समय रहते आग पर काबू पा लिया था। उत्तरकाशी वन प्रभाग के वन क्षेत्राधिकारी रविंद्र पुंडीर ने बताया कि प्रभाग में अभी तक जंगलों में आग लगने की 35 घटनाएं दर्ज हुई हैं, जिसमें करीब तीस हेक्टेयर जंगल प्रभावित हुआ है।
पौड़ी जिले में जल चुका है 321 हेक्टेयर जंगल : पौड़ी जनपद के गढ़वाल वन प्रभाग में अब तक वनाग्नि की 217 घटनाएं हो चुकी हैं, जिसमें 321 हेक्टेयर वन भूमि जल चुकी है। शुक्रवार शाम को खिर्सू ब्लाक के सिंगोरी ग्राम सभा में वनाग्नि आवासी भवनों तक आ पहुंची। ग्रामीण महेंद्र नेगी ने बताया कि लोगों ने कड़ी मेहनत से आग पर काबू पाया। शिकारी जॉय हुकिल ने कहा कि जंगलों की आग से गुलदार का भोजन जल रहा है। ऐसे में गुलदार बस्तियों की ओर रुख कर सकते हैं। उन्होंने लोगों को जंगलों की आग बुझाने में वन विभाग का सहयोग करने की अपील की है। डीएफओ गढ़वाल केएस रावत ने कहा कि जंगलों की आग पर नियंत्रण के पूरे प्रयास किए जा रहे हैं। 

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